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विस चुनाव में ‘कोई नहीं’ का भी हुआ इस्तेमाल

 

नई दिल्ली: हालही में देश की शीर्ष न्यायालय द्वारा देश के लोगों को दिया गया ‘राईट तो रिजेक्ट’ के अधिकार का भी चार राज्यों यानि दिल्ली, मध्य प्रदेश, राजस्थान,  और छत्तीसगढ़ में मतदाताओं द्वारा प्रयोग किया गया। माननीय शीर्ष न्यायलय के आदेशानुसा इस बार ईवीएम (इलेक्ट्रोनिक वोटिंग मशीन) में ‘कोई नहीं’ का विकल्प भी दिया गया था।

 

‘कोई नहीं’ विकल्प का इस्तेमाल मतदाता उस स्थिति में करता है जब उसे लगता है कि उसके क्षेत्र से चुनावी मैदान में उतरा व्यक्ति उस पद के काबिल नहीं है जिसके लिए वह नामित किया गया है। ऐसी स्थित में मतदाता ‘कोई नहीं’ विकल्प का इस्तेमाल कर अपने मताधिकार का प्रयोग भी कर लेता है और इससे यह भी पता लग जाता है कि कितने लोगों को नामित प्रत्यासी पसंद नहीं आए।

 

लोकसभा चुनाव से पहले हुए पांचो राज्यों यानि दिल्ली, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान और मिजोरम में विधानसभा चुनाव में शीर्ष न्यायलय के आदेशों का पालन करते हुए चुनाव आयोग ने पहली बार ईवीएम मशीन में नोटा यानि ‘कोई नहीं’ का विकल्प दिया था और इस इस्तेमाल चारो राज्यों में मिलकर 5 लाख 88 हजार लोगों द्वारा किया गया।

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